अब तक 21 कोरोना मरीज हुए स्वस्थ
छिंदवाड़ा। जिले में नोवल कोरोना वायरस के संक्रमण और बीमारी की रोकथाम एवं बचाव के लिए जिला प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। जिले से कोरोना वायरस के एक हजार 511 सैंपल जांच के लिए भेजे गए जिसमें से एक हजार 368 सैंपल निगेटिव पाए गए हैं एवं 65 सैंपल की जांच लंबित है व 36 सैंपल रिजेक्ट हुए हैं। जिले में कोरोना वायरस के संक्रमण से अभी तक 21 व्यक्ति स्वस्थ हो चुके हैं। कलेक्टर सौरभसुमन द्वारा जिले के नागरिकों से कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव के संबंध में दिए गए दिशा-निर्देशों का कड़ाई से पालन करने की अपील की गई है।
स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार जिले में अन्य राज्यों और जिलों से 47 हजार 808 यात्री आए हैं जिनकी स्क्रीनिंग कर स्वास्थ्य परीक्षण भी कर लिया गया है तथा इसमें से 42 हजार 281 व्यक्तियों का होम क्वारंटाईन भी पूर्ण हो चुका है। जिले में अभी तक कोरोना वायरस से पॉजिटिव पाए गए। 31 व्यक्तियों में से 2 व्यक्तियों की मृत्यु हुई है और 21 व्यक्ति स्वस्थ हो चुके हैं तथा वर्तमान में जिला चिकित्सालय के आइसोलेशन वार्ड में कोरोना संक्रमित 8 व्यक्तियों को भर्ती कर उनका समुचित उपचार किया जा रहा है।
जिले में विगत 11 दिनों से कोरोना संक्रमित एक भी मरीज नहीं मिला है । जिले में 16 क्षेत्रों को कंटेनमेंट एरिया घोषित किया गया है तथा पूर्व में घोषित 11 कंटेनमेंट एरिया में किसी भी प्रकार का संक्रमण नहीं होने से इन्हें कंटेनमेंट क्षेत्र से हटा दिया गया है । जिले में 44 फीवर क्लीनिक संचालित किये जा रहे हैं जिनके माध्यम से सर्दी, खांसी, बुखार और सांस लेने में तकलीफ से पीड़ित रोगियों का चिन्हांकन कर उनका उचित उपचार किया जा रहा है एवं आवश्यकता पड़ने पर रोगी का सेम्पल कोरोना जांच के लिये भिजवाया जा रहा है।
डी. एम. नासेरी का निधन
छिंदवाड़ा। बड़वन निवासी पूर्व प्राचार्य डी. एम. नासेरी का 90 वर्ष की आयु में लंबी बीमारी के बाद दु?खद निधन हो गया। वे प्रशांत एवं हेमंत नासेरी के पिता थे। उनकी अंतिम यात्रा 22 जून दिन सोमवार को सुबह 11 बजे निज निवास बड़बन से निकाली जाएगी।
मैं भाषण नहीं देता, सिर्फ चर्चा करता हूं: राजेंद्र गुप्त
नाट्यगंगा ऑनलाइन पाठशाला का 26वां दिन
छिंदवाड़ा। नाट्यगंगा द्वारा आयोजित एक्टिंग की ऑनलाइन पाठशाला में ख्यातिलब्ध रंगकर्मियों और टीवी और फिल्म अभिनेताओं का आना प्रारंभ है। इस की कड़ी में कार्यशाला के छब्बीसवें दिन अपने जीवन और रंगकर्म की दुनिया के अनुभवों के साथ राजेंद्र गुप्त मौजूद रहे। उन्होंने लगान, गुरू, तनु वेड्स मनु, मिशन काश्मीर, वेल डन अब्बा, दीवार, पान सिंग तोमर, दिल क्या करे आदि कई फिल्मों में अभिनय किया है। रविवार को क्लास में उन्होंने कहा कि मुझे कोई भाषण देना नहीं आता न ही कोई क्लास लेना आता है मुझे बस चर्चा करना अच्छा लगता है, वास्तव में मुझे ज्ञान समझ में नहीं आता मुझे बस भाव समझ में आते हैं। आज की क्लास को उन्होंने चौपाल का नाम दिया और सभी से चर्चा की और इस ही दौरान जीवन के कई रहस्य बता दिए और जीवन जीन के तरीके सिखा दिए। व्यवहार से सरल और उतनी ही सहजता से सभी का मार्गदर्शन किया मानो ऐसा प्रतीत हुआ जैसे परिवार के बुजुर्ग सबके बीच आकर हमें जीवन की कठिनाइयों का सामना करने का मार्ग प्रशस्त कर रहे हो और इनके द्वारा दी गयी सीख चाहे वो रंगमंच से संबंधित हो या हमारे जीवन के उन पहलुओं से जिसका सामना करते समय कई बार हम अपने मार्ग से विचलित हो जाते है तो बाबुजी द्वारा दी गयी सीख हमें विषमता में विवेकपूर्ण निर्णय लेकर जीवन को सही दिशा देने और एक अच्छा कलाकार बनने की ओर अग्रसर करती है। सर ने आज मुक्तिबोध जी की कविता भूल गलती का अनूठा पाठ भी कार्यशाला में किया। आज का संचालन नीता वर्मा ने और आभार संजय औरंगाबादकर ने व्यक्त किया। अतिथि के रूप में अवतार साहनी, अषोक बिंदल, जमुना अइयर, नेताराम रावत, विनोद विश्वकर्मा, ब्रजेश अनय, सत्येंद्र शेंडे उपस्थित थे। कार्यशाला के निर्देशक पंकज सोनी, तकनीकि सहायक नीरज सैनी, मीडिया प्रभारी संजय औरंगाबादकर, प्रश्नोत्तर सत्र समन्वयक रोहित रूसिया कार्यशाला प्रबंधक सचिन मालवी, सुवर्णा दीक्षित और मार्गदर्षक मंडल में वसंत काशीकर, जयंत देशमुख, गिरिजा शंकर और आनंद मिश्रा हैं।