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परिणाम सुनते ही छलक आए खुशी के आंसू

Publish Date: | Sun, 05 Jul 2020 04:00 AM (IST)

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पांढुर्णा की छात्रा धनश्री उमाठे का स्कूल परिसर में स्वागत किया गया

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परिणाम सुन भावुक हो गई खुशी कुशवाहा

फोटो- खुशी कुशवाह

यश गढ़ेवाल, ऋषिका चौरसिया और नावेद के नाम से है।

छिंदवाड़ा। आंखों में एक सपना कुछ कर गुजरने का और जब परिणाम में परचम लहराया तो वहीं खुशी आंखों से आंसू बनकर बाहर आ गई। हम बात कर रहे हैं शहर के संत जोसफ हाई सेकंडरी स्कूल की 10 वीं की छात्रा खुशी पिता राजकुमार कुशवाह की जिसने अपने परिवार, शहर व स्कूल का नाम रोशन करते हुए जिले में दूसरा स्थान पाया है। खुशी ने 10 वीं की परीक्षा में 400 में 392 अंक हासिल किए हैं। खुशी के पिता रामकुमार कुशवाह जो पुराना बैल बाजार कैलाश धाम मंदिर के समीप रहते है तथा घर पर ही आटाचक्की चलाते हैं। परिणाम आते ही स्कूल प्रबंधन व शिक्षक खुशी को खोजने लगे पिता से बात की तथा उन्हें बधाई देते हुए स्कूल बुलाया। स्कूल पहुंची खुशी का सम्मान स्कूल प्रबंधन ने गुलदस्ते देकर किया। इसी दौरान नवदुनिया ने खुशी से उनकी इस सफलता पर बधाई दी तथा उनसे बातचीत की। इस दौरान खुशी ने बताया कि वह इस जीत का श्रेय अपने माता-पिता व गुरुजनों को देती हैं। ग्याहरवीं में वह गणित, विज्ञान विषय लेकर आगे की पढ़ाई करना चाहती है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि वह भविष्य में यूपीएससी की तैयारी कर आईपीएस बनकर देश की सेवा करना चाहती हूं।

आईआईटी करना चाहते हैं नावेद

परासिया। न्यू आराधना कान्वेंट परासिया के छात्र नावेद अहमद पिता निसार अहमद ने कक्षा दसवीं की परीक्षा में 98 प्रतिशत अंक पाकर जिले में दूसरा स्थान प्राप्त किया। गणित से विशेष लगाव रखने वाले नावेद को सभी विषय में विशेष योग्यता मिली है। नावेद ने बताया कि स्कूल से मिले मार्गदर्शन और परिवार के सहयोग के साथ उसने स्कूल के अलावा घर में भी पांच से छह घंटे पढ़ाई की। इसका नतीजा सफलता के रूप में सामने आया। नावेद के पिता अतिथि शिक्षक हैं। परिवार में एक बहन और है जो नौवी की छात्रा हैं। स्कूल के प्राचार्य मधु राय ने नावेद के उज्जवल भविष्य की कामना की।

जिले की प्राविण्य सूची में यश गढ़ेवाल ने पाया पहला स्थान

परासिया। परासिया के अर्चना कान्वेंट के छात्र यश गढ़ेवाल पिता कन्हैया गढ़ेवाल ने दसवीं की प्रावीण्य सूची में जिले में पहला स्थान पाया। इस खुशी के बीच यश के लिए मायूसी वाली खबर यह रही कि सिर्फ एक नंबर से वह प्रदेश के टॉप टेन विद्यार्थियों की सूची में आने से चूक गए। इस मलाल के बीच उनके लिए यह खुशी की बात रही। यश ने 98.25 प्रतिशत अंक प्राप्त किए। गणित यश का प्रिय विषय है। सभी विषय में विषेष योग्यता उन्हें मिली है। यश के पिता कंस्ट्रक्शन कंपनी में सुपरवाईजर है। भविष्य में वह यूपीएससी से प्रशासनिक क्षेत्र में जाने की इच्छा रखता है।

पिता करते हैं टेलरिंग का कार्य, परिस्थितियों को चुनौती देकर पाई सफलता

छिंदवाड़ा। पांढुर्णा के सरस्वती हाई सेकेंडरी स्कूल में पढ़ने वाली 10 वीं की छात्रा धनश्री पिता चंद्रशेखर उमाठे ने 400 में से 391 अंक पाकर जिले में तीसरा स्थान प्राप्त किया है। इस सफलता का श्रेय धनश्री ने अपने पिता-माता व गुरुजनों को दिया है। धनश्री के पिता टेलरिंग का कार्य करते हैं। परिवार की आर्थिक स्थिति कमजोर होने के बाद चुनौतियों को स्वीकार करते हुए धनश्री ने यह सफलता पाई है। धनश्री ने 10 वीं की परीक्षा में 97.75 प्रतिशत अंक पाए थे। रिजल्ट घोषित होने के बाद सरस्वती शिशु मंदिर के संस्थापक मारोतराव खवसे, अध्यक्ष जगदीश बुधराजा की उपस्थिति में धनश्री का सम्मान किया गया। इस दौरान धनश्री के पिता चंद्रेशखर उमाठे सहित स्कूल की शिक्षक शिक्षिकाएं उपस्थित थे।

Posted By: Nai Dunia News Network

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